सोमवार, 1 अक्तूबर 2007

ब्लॉग..पर कविता

कोशिशों की
छोटी छोटी कहानियों
से बनी
एक लंबी कहानी हैं
ये ब्लॉग..
इन कहानियों में
कहीं रवीश का कस्बा है
तो कहीं
प्रियदर्शन की बातें हैं...
कहीं समीर लाल हैं
तो कहीं वाह वाह करते
संजीव तिवारी के
अल्फाज़ हैं...
राजेश रोशन के सपनों
कि कहानी हैं
ये ब्लॉग....
वाकई
कोशिशों की
छोटी छोटी कहानियों
से बनी
एक लंबी कहानी हैं
ये ब्लॉग....
रितेश गुप्ता की
भावनाएं
हैं यहां....
रवीन्द्र प्रधान के
लफ्ज़ों की मिठास
है यहां...
ढाई आखर की जुबानी
है यहां...
कोशिशों की
छोटी छोटी कहानियों
से बनी
एक लंबी कहानी हैं
ये ब्लॉग..